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4 Aug 2025, Mon

लेबरों का हक मारकर, रोजी रोटी चला रहे है समिति प्रबंधक

छत्तीसगढ़ के सूरजपुर जिले के केशवनगर समिति में अनियमिताएं की बाढ आ गई है। आपकों बताते चलें कि छत्तीसगढ़ में धान की खरीदी को एक महापर्व के रूप में माना जाता है, लेकिन इस महापर्व में धान खरीदी के दरम्यान सहकारी समितियों में कही तौल में ज्यादा धान लिया जा रहा तो कही किसान ही मजदूर बनकर हमाली कर रहा है।वही दूसरी तरफ तमाम चाक चौबंद इंतजाम के दावे करना वाला जिला प्रशासन अगर कभी कभार निंद से जागा तो कहीं समितियों से लाखों करोड़ों रुपए का धान गायब तों कही कोचियों द्वारा समितियों में अवैध धान खपाने की कवायद को पकड़ कर अपनी वाहवाही बटोरने के बाद सबकुछ सही होने का दावा करने लगता है। इसके वावजूद भी सहकारी समितियों में मनमानी चरम पर बरकरार है,इसी कड़ी में ज़िले के ही केशवनगर समिति में देखने को मिला है इस समिति में एक भी लेबर समिति प्रबंधक के द्वारा नहीं रखा गया हैं किसान ही खुद तौल कर उठा कर छल्ली मार रहा है जबकि लेबर सहित अन्य कार्यों के लिए 12 रुपये प्रति क्विंटल के दर से समिति प्रबंधक को राशि आवंटित होती है ,लेकिन समिति प्रबंधक लेबरों का ही पूरा पैसा खा ले रहा है समिति प्रबंधक भी लापता रहता है । सबसे बड़ी बात बताते चलें कि यहां के समिति प्रबंधक का दबदबा कहें या संरक्षण उप पंजीयक सहकारी समिति का बरकरार रहता है।

इसके वजह से कोई भी शिकायत हों ना ही सहकारी बैंक के नोडल अधिकारी और ना ही अन्य जवाबदेह अधिकारियों द्वारा कोई कार्यवाही होती है। सूत्रों की मानें तो धान खरीदी केंद्र का सत्यापन किया जाएं तो डीओ से उठाव व वर्तमान में समिति में पड़े धान के बोरों का गणना करने पर एक और बड़ी गबन का मामला सामने आएगा। इसके साथ ही यहां की गतिविधियों की निगरानी हेतु स्थानीय बैंक शाखा प्रबंधक द्वारा भी बेपरवाही का आलम शुरूआती दौर से लेकर अबतक जस की तस बरकरार है ‌। बहरहाल खुद को चुस्त-दुरुस्त बताने वाला जिला प्रशासन कब-तक ऐसे गंभीर मसलों पर जांच कर कार्रवाई करेगा यह आने वाले दिनों में सामने आएगा

खाद्य अधिकारी का कथन

मामले पर जिला खाद्य अधिकारी संदीप भगत से चर्चा किया गया तों उन्होंने कहा कि मामला आपके माध्यम से संज्ञान में आया है, जल्द ही मामले पर जांच कर कार्रवाई किया जाएगा